Indian Stock Market 11 Dec 24, Sensex, Nifty, Stock Market, Share Market, indian stock market, latest stock market, market stock, share/stock news
शेयर बाजार के अपडेट(Indian Stock Market 11 Dec 24): आज की स्थिति और भविष्य कि संभावनाएँ
Indian Stock Market 11 Dec 24 |
नमस्कार दोस्तों, आपका स्वागत है डिजिटल न्यूज़ इंफॉर्मेशन में आपका स्वागत है । कल बाजार(Indian Stock Market 11 Dec 24) के बंद होने तक सेंसेक्स 2 अंकों की बढ़त के साथ 81,510 के पास बंद हुआ, जबकि निफ्टी 9 अंकों की गिरावट के साथ 24,610 के पास बंद हुआ। वहीं बैंक निफ्टी ने 170 अंकों की बढ़त के साथ 53,578 के पास बंद किया। यह बाजार की एक प्राइस गतिविधि थी। कल के बाजार की गतिविधि में देखा गया कि बैंक निफ्टी और निफ्टी समान रूप से व्यवहार कर रहे हैं। संभावना है कि आज निफ्टी और अधिक गिर सकता है। हालांकि बाजार लगभग न्यूट्रल बंद हुआ, क्योंकि हाल के समय में वैश्विक बाजारों में कोई बड़ी अनिश्चितता नहीं देखी गई है।
वैश्विक आर्थिक स्थिरता का प्रभाव(Indian Stock Market 11 Dec 24)
एशियाई और यूरोपीय बाजारों की स्थिति
जापान और चीन की नीतियों का विश्लेषण
आरबीआई के नए गवर्नर संजय मल्होत्रा
आर्थिक नीतियों और बैंकिंग सिस्टम पर ध्यान
बैंकिंग सिस्टम की स्थिरता का महत्व
SIP में सुस्ती और फेडरल रिजर्व से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारियां
SIP में सुस्ती:
रिटेल निवेशक हर महीने शेयर बाजार में 25 हजार करोड़ रुपये का निवेश कर रहे हैं, जो एक छोटा आंकड़ा नहीं है। SIPs के जरिए यह निवेश होता है, और धीरे-धीरे बढ़ता गया है। लेकिन इस बार यह थोड़ा स्थिर नजर आ रहा है।
महत्वपूर्ण आंकड़े:
बाजार और निवेश:
हालांकि, बाजार में किसी भी अप्रत्याशित वैश्विक घटना से गिरावट हो सकती है। अगर 24,170 का स्तर टूटता है, तो बाजार में नकारात्मकता आ सकती है। लेकिन जब तक ऐसा नहीं होता, बाजार स्थिर रहेगा और निवेशकों को शेयरों में निवेश के अच्छे मौके मिल सकते हैं।
आशा और संभावनाएं:
- CPI महंगाई दर उम्मीद से बेहतर आए, जिससे बाजार को मजबूती मिले।
- FIS की निवेश गतिविधियां जारी रहें।
- बड़े पैमाने पर बिकवाली (जैसे 34-5000 करोड़ रुपये) नहीं होनी चाहिए।
निवेश में जोखिम और इनाम का संतुलन: FMCG क्षेत्र पर एक नजर
दोस्तों, हर निवेश में जोखिम और इनाम जुड़े होते हैं। अगर हम अतीत को याद करें, तो कई स्टॉक्स ने बुरे समय में भी खुद को साबित किया है। उदाहरण के तौर पर ITC को देखें, जो एक समय मजाक का विषय था, लेकिन अब इसने शानदार प्रदर्शन किया है। वहीं HDFC बैंक हाल ही में अपने ऑल-टाइम हाई पर पहुंच गया है।
Indian Stock Market 11 Dec 24
बड़ी कंपनियों की ताकत
बड़ी कंपनियों को "बड़े हाथी" के समान समझा जा सकता है। चोट लगने पर वे गिरती नहीं हैं; उनकी गति थोड़ी धीमी हो जाती है, लेकिन वे अपनी चोटों से उबरकर वापस रफ्तार पकड़ लेती हैं। जैसे-जैसे उनका व्यापार फिर से अपनी पूरी क्षमता में आता है, उनका कंपाउंडिंग सफर जारी रहता है।
प्रसिद्ध निवेशक रामदेव अग्रवाल ने एक बार डिमार्ट (DMart) का उदाहरण देकर यही समझाने की कोशिश की थी। यह कंपनियां अस्थायी रूप से कुछ नकारात्मकताओं का सामना कर सकती हैं, लेकिन भविष्य में उनका विकास सुनिश्चित है।
FMCG कंपनियों में गिरावट
हाल के समय में कई FMCG कंपनियों के स्टॉक्स में 20-30% तक गिरावट आई है। उदाहरण के लिए:
- गोडरेज कंज्यूमर प्रोडक्ट्स: अपने हाल के उच्चतम स्तर से लगभग 30% गिरी।
- ब्रिटानिया: लगभग 25% गिरावट।
- एशियन पेंट्स और नेस्ले: 20-30% के करीब गिरावट।
- हिंदुस्तान यूनिलीवर और टाटा कंज्यूमर: 20-25% गिरावट।
हालांकि, यह गिरावट स्थायी नहीं है। इन कंपनियों का मौजूदा दौर चुनौतीपूर्ण जरूर है, लेकिन इनकी गुणवत्ता और भविष्य की संभावनाओं पर कोई सवाल नहीं है।
निवेश का सही समय
बाजार अक्सर नकारात्मकता के खत्म होने का इंतजार नहीं करता। जब हालात खराब होते हैं, तो यह सही समय होता है उन कंपनियों में निवेश करने का, जो मजबूत बुनियादी ढांचे और उत्पादों वाली हों। जैसा कि वॉरेन बफेट कहते हैं:
"जब हर कोई डरके हो, तभी खरीदें और जब हर कोई लालसा हो, तभी बेचें।"
लेकिन ऐसा करना आसान नहीं होता। गिरते हुए स्टॉक्स में निवेश करने के लिए साहस चाहिए। हालांकि, गुणवत्ता वाली कंपनियां, जिनकी कीमत 25-30% तक गिरी हो, उनमें सीमित जोखिम होता है और लंबे समय में अच्छा रिटर्न मिलता है।
सावधानी और समझदारी जरूरी
निवेश से पहले अपनी खुद की रिसर्च करना बेहद जरूरी है। किसी और की राय पर निर्भर न रहें। अपने अध्ययन और विश्लेषण के आधार पर निर्णय लें।
ग्रिव्स कॉटन लिमिटेड: विजय केडिया का निवेश और भविष्य की संभावनाएं
ग्रिव्स कॉटन लिमिटेड ने हाल ही में बाजार में सुर्खियां बटोरी हैं। प्रसिद्ध निवेशक विजय केडिया ने इस कंपनी में 209 रुपये के औसत पर 12 लाख शेयर खरीदे, यानी उन्होंने 25 करोड़ रुपये का निवेश किया। यह खबर आते ही स्टॉक की कीमत में 18.5% की वृद्धि हुई।
कंपनी का प्रदर्शन और मार्केट कैप
कल कंपनी का मार्केट कैप लगभग 4900 करोड़ रुपये था, जिसमें 1000 करोड़ रुपये का इज़ाफा देखा गया। निवेशकों के बीच इस स्टॉक को लेकर उत्साह बढ़ा है, खासकर इसकी भविष्य की योजनाओं और विकास के कारण।
डिज़ल इंजन से EV तक का सफर
ग्रिव्स कॉटन मुख्यतः डीजल इंजन में अग्रणी है, जिसमें इसका मार्केट शेयर 65-70% है। हालांकि, डीजल इंजन के भविष्य को देखते हुए कंपनी ने इलेक्ट्रिक व्हीकल (EV) क्षेत्र में कदम रखा है।
- ग्रीन एनर्जी और इलेक्ट्रिक व्हीकल्स के क्षेत्र में निवेश।
- ई-रिक्शा बैटरी, EV कंपोनेंट्स, और कार्गो थ्री-व्हीलर्स में विस्तार।
- CNG, बायोडीजल, और एथेनॉल जैसे वैकल्पिक ईंधन पर काम।
कंपनी न केवल कर्ज मुक्त है, बल्कि इसके पास लगभग 500 करोड़ रुपये का कैश रिजर्व भी है।
निवेश के आंकड़े और संभावनाएं
विजय केडिया जैसे निवेशकों का निवेश और कंपनी के फ्यूचरिस्टिक बिजनेस मॉडल इसे एक मजबूत निवेश विकल्प बनाते हैं। हालांकि, कंपनी की ताकत अभी पूरी तरह से उसके आंकड़ों में परिलक्षित नहीं हो रही है। जैसे-जैसे व्यापार में वृद्धि होगी, आंकड़े भी बेहतर होंगे।
म्यूचुअल फंड्स और अन्य कंपनियों की रिपोर्ट
हाल ही में मोतीलाल ओसवाल जैसी प्रमुख कैपिटल मार्केट कंपनियों ने कई कंपनियों पर रिपोर्ट जारी की है। उन्होंने कई कंपनियों को "बाय" रेटिंग दी है, जिनमें से कुछ प्रमुख हैं:
- CDSL
- CAMS
- BSE
- MCX
इन कंपनियों के एसेट-लाइट बिजनेस मॉडल और ब्रांड वैल्यू उन्हें दीर्घकालिक निवेश के लिए आकर्षक बनाते हैं।
निवेश करते समय ध्यान रखने योग्य बातें
- हमेशा कंपनी की पूरी जानकारी लें।
- अगर स्टॉक की कीमत बढ़ रही है, तो जल्दबाजी में निवेश न करें।
- गिरावट के समय में घबराएं नहीं, बल्कि दीर्घकालिक दृष्टिकोण से सोचें।
- निवेश करने से पहले वैल्यूएशन और कंपनी की भविष्य की योजनाओं का विश्लेषण जरूर करें।
SEBI नियम और मिष्टान फूड्स पर विशेष जानकारी (SEBI Rules and Insights on Mishtann Foods)
SEBI के नियम और अनलिस्टेड शेयरों पर विचार
SEBI (सिक्योरिटीज एंड एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया) के अनुसार, आप किसी भी इलेक्ट्रॉनिक प्लेटफॉर्म (ऑनलाइन) के माध्यम से अनलिस्टेड शेयर खरीद सकते हैं, लेकिन यदि यह प्लेटफॉर्म SEBI के नियमों का उल्लंघन करता है, तो यह गैर-कानूनी माना जाएगा। SEBI ने यह स्पष्ट किया है कि यदि कोई प्लेटफॉर्म इन नियमों का पालन नहीं करता है, तो यह SEBI के दिशा-निर्देशों के खिलाफ है।
T+0 सेटलमेंट: नई शुरुआत
SEBI अब T+0 सेटलमेंट (यानी उसी दिन शेयर खरीदने और बेचने पर सेटलमेंट) का प्रावधान लाने की तैयारी में है।
- T+0 सेटलमेंट क्या है?इसका मतलब है कि जब आप शेयर खरीदते हैं, तो वह उसी दिन आपके डिमैट अकाउंट में पहुंच जाता है। और जब आप शेयर बेचते हैं, तो पैसा उसी दिन आपके अकाउंट में सेटल हो जाता है।
- किन शेयरों पर लागू होगा?यह सुविधा टॉप 500 शेयरों पर लागू होगी।
- T+0 के लिए ब्रोकरेज अधिक क्यों?इस प्रक्रिया के लिए मजबूत इंफ्रास्ट्रक्चर की आवश्यकता होती है, जिससे ब्रोकरेज शुल्क थोड़ा अधिक हो सकता है।
मिष्टान फूड्स: गिरावट की कहानी
हाल ही में मिष्टान फूड्स (Mishtann Foods) के बारे में चर्चा की गई थी। यह कंपनी और उसके स्टॉक्स निवेशकों के लिए चिंता का कारण बने हुए हैं।
- बाजार पूंजीकरण में गिरावटकंपनी का मार्केट कैप 1600 करोड़ रुपये से घटकर मात्र 900 करोड़ रुपये हो गया है। हाल ही में 20% और 10% लोअर सर्किट के कारण स्टॉक में गिरावट आई है।
- नकारात्मक कैश फ्लो और अनियमितताएंमिष्टान फूड्स के ऑपरेटिंग कैश फ्लो लंबे समय से नकारात्मक रहे हैं। कंपनी के पास केवल 5 स्थायी कर्मचारी हैं। इसके बावजूद उनके मुनाफे और राजस्व में भारी उछाल दिखाया गया है। SEBI की जांच में यह पता चला कि लगभग 84% सेल्स और 91% खरीदारी संबंधित कंपनियों के माध्यम से हुई, जो संबंधित पार्टी लेनदेन हैं और इन्हें सही तरीके से प्रकट नहीं किया गया।
- GST घोटाले और प्रमोटर की बिक्रीअक्टूबर 2022 में GST कमीशन ने भी कंपनी की वित्तीय पुस्तकों में गड़बड़ी की रिपोर्ट दी थी। जुलाई से अगस्त 2024 तक प्रमोटर हितेश पटेल ने बाजार में धीरे-धीरे 3 करोड़ शेयर बेच दिए, जिससे 50 करोड़ रुपये का लाभ कमाया।
निवेशकों के लिए संदेश
- जांच-पड़ताल करें:किसी भी कंपनी में निवेश करने से पहले उसकी वित्तीय स्थिति, कैश फ्लो और लेनदेन के इतिहास को समझें।
- पैनी स्टॉक्स से बचें:ऐसे स्टॉक्स, जो बेहद कम कीमत पर उपलब्ध होते हैं और जिनमें ऊपरी सर्किट या लोअर सर्किट लगते रहते हैं, उनमें निवेश से बचें।
- म्यूचुअल फंड्स पर विचार करें:यदि आपके पास समय या विशेषज्ञता नहीं है, तो म्यूचुअल फंड्स में निवेश करना बेहतर विकल्प हो सकता है।
मैक्स लाइफ इंश्योरेंस ने भी अच्छी प्रगति दर्ज की है।
- प्रीमियम के मामले में 21% की वृद्धि।
- कुल एपी में 25% की वृद्धि।
- रिटेल एपी में भी 25% की वृद्धि।
वहीं, HDFC लाइफ, SBI लाइफ, और LIC का प्रदर्शन थोड़ा कमजोर रहा है। इन कंपनियों के डेटा में उतनी प्रगति नहीं देखी गई जितनी आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल और मैक्स लाइफ ने दिखाई है।
भारत इलेक्ट्रॉनिक्स (BEL):
- टाटा मोटर्स का इस क्षेत्र में अच्छा बाजार हिस्सा है, लेकिन इलेक्ट्रिक वाहन बसें टाटा मोटर्स का मुख्य व्यवसाय नहीं हैं। उनका फोकस भारत में कमर्शियल वाहन और पैसेंजर वाहन सेगमेंट और वैश्विक स्तर पर JLR (Jaguar Land Rover) पर है।
- JBM ऑटो एक बड़ी कंपनी है, जिसकी मार्केट कैपिटल 20 हजार करोड़ रुपये है, जबकि Olectra GreenTech की मार्केट कैपिटल 13 हजार करोड़ रुपये है।
- JBM ऑटो का ऋण स्तर थोड़ा ऊंचा है, लेकिन इसके रिटर्न रेशियो Olectra की तुलना में बेहतर हैं।
- JBM के कुल राजस्व में विभिन्न क्षेत्रों जैसे शीट मेटल कंपोनेंट्स, टूल्स, और मोल्ड्स का योगदान है, जबकि Olectra GreenTech मुख्य रूप से इलेक्ट्रिक बसों पर केंद्रित है।
बैंक निफ्टी और निफ्टी सपोर्ट-रेजिस्टेंस लेवल:
बैंक निफ्टी:
- नीचे की तरफ 24,520 का लेवल महत्वपूर्ण है।
- अगर यह टूटता है तो 24,430 का स्तर अगला समर्थन होगा।
- ऊपर की तरफ 24,670 और 24,750 प्रमुख रेजिस्टेंस लेवल हैं।
- निफ्टी और सेंसेक्स:हाल के समय में बैंक निफ्टी के साथ-साथ सेंसेक्स लेवल के बारे में भी पूछा जा रहा है।
अगर आप भी सेंसेक्स लेवल जानना चाहते हैं, तो हमें कमेंट सेक्शन में बताएं। आपके सुझावों के आधार पर इसे आगामी ब्लॉग में शामिल किया जाएगा।
आशा है यह जानकारी आपके निवेश निर्णयों में सहायक होगी।
COMMENTS